![]() ![]() --आया है उल्लास का, उत्तरायणी पर्व।झूम रहे आनन्द में, सुर-मानव-गन्धर्व।१।--जल में डुबकी लगाकर, पावन करो शरीर।नदियों में बहता यहाँ, पावन निर्मल नीर।२।--जीवन में उल्लास के, बहुत निराले ढंग।बलखाती आकाश में, उड़ती हुई पतंग।३।--तिल के मोदक खाइए, देंगे शक्ति अपार।मौसम का मिष्ठ... |
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